World Hypertension Day 2024 : बरतें सावधानी, लोगों की सेहत के लिए खतरा बन रहा उच्च रक्तचाप

हर साल 17 मई को विश्व ब्लड प्रेशर दिवस मनाया जाता है। इस दिवस को मनाने के पीछे का मकसद लोगों में हाइपरटेंशन के प्रति जागरूकता फैलाना होता है। हाई ब्लडप्रेशर देखने में भले ही आम लगे, लेकिन, वास्तव में यह एक गंभीर समस्या है, जिसे नजरअंदाज करना सेहत से जुड़ी कई गंभीर समस्याओं का कारण भी बन सकती है। हाई ब्लड प्रेशर कई बार हार्ट अटैक और स्ट्रोक का भी कारण बन सकता है।

मौजूदा समय में काबू से बाहर होता ब्लड प्रेशर तमाम लोगों की सेहत पर खतरा बन रहा है। इतना ही नहीं ब्लड प्रेशर लोगों को आपातकालीन स्थिति की तरफ धकेल रहा है। चिकित्सकों का कहना है कि बढ़ते बीपी से अनजान होना सामान्य रूप से स्वस्थ कई लोगों को सेहत पर इमरजेंसी का खतरा लेना है। बीपी बढ़ने को खतरनाक बताते हुए चिकित्सकों ने नियमित रूप से इनकी जांच कराने और बढ़ा मिलने पर दवा लेने व अन्य एहतियात बरतने की सलाह दी है।

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चिकित्सकों का कहना है कि ओपीडी में रोजाना आने वाले 25 से 30 फीसदी मरीज हाई बीपी पीड़ित मिल रहे हैं। अस्पतालों में बीपी की दवा लेने की जरूरत वाले मरीजों की संख्या बहुत तेजी से बढ़ रही है। जिसके कारण हाइपरटेंशन की दवाओं की खपत बेतहाशा बढ़ रही है। इसलिए इन पर ध्यान देना जरूरी है।


खान-पान का रखें विशेष ध्यान
जिला अस्पताल के चिकित्सा अधीक्षक डॉ. राजेंद्र कुमार का कहना है कि आजकल के खराब खानपान, सिगरेट, शराब और ज्यादा मिर्च व तला हुआ खाना खाने से हाई ब्लड प्रेशर की समस्या आम हो रही है। घर के बाहर खराब तेल व मिर्च में बना खाना खाते हैं। इसलिए हाई ब्लड प्रेशर से बचने के लिए नमक व मिर्च का इस्तेमाल कम करें। हाई ब्लड प्रेशर बचने को हर किसी को अपने खानपान विशेष ध्यान रखना चाहिए।

उच्च रक्तचाप ब्रेन हेमरेज व पैरालाइसिस का कारण
जिज्ञासा हॉस्पिटल के फिजीशियन डॉ. सीपी सिंह का कहना है कि आज तक लोगों ने मेहनत करना बंद कर दिया है। सुबह देर तक सोने की आदत पड़ गई है। हमेशा बाहर का खराब खाना खाने की आदत हो गई है। यह सभी आदतें लोगों को हाई ब्लड प्रेशर से पीड़ित कर रही है। हाई बीपी से ब्रेन हैमरेज व पैरालाइसेस अटैक व मेडिकल इमरजेंसी की स्थिति कभी भी बन सकती है। इसलिए सुबह उठकर कम से कम आधा घंटे टहलें। ज्यादा से ज्यादा पानी पीएं और बेल का जूस पीएं।

रोजाना खाई जा रहीं ढाई लाख गोलियां
जनपद में शुगर और बीपी से पीड़ित मरीजों को इसका खतरा घटाने के लिए दवा पर निर्भरता इस कदर बढ़ी है तीन साल में बीपी-शुगर की दवाओं की खपत चार गुना तक बढ़ गई है। रोजाना शुगर-बीपी की ढाई लाख गोलियां खाई जा रही हैं। मुरादाबाद केमिस्ट रिटेलर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष आलोक अग्रवाल ने बताया कि शुगर व बीपी को घटाने के लिए दवा लेने वाले मरीजों में अब 20 साल से कम उम्र के लोग यानि किशोरों और बच्चों की संख्या बढ़ रही है।

रक्तचाप से बचने को इन बातों का रखें ध्यान

  • चेक कराने पर बीपी का लेवल 120/80 से ऊपर होने पर तत्काल चिकित्सक से दवा और बरती जाने वाली सावधानियों को लेकर बात करें।
  • खाने पीने में अधिक मीठी, नमकीन, चिकनाई और मिर्च मसाले वाली चीजों के सेवन से बचें।
  •  रोजाना आधा से एक घंटे तक हल्का व्यायाम करना, पैदल चलना बीपी के मरीजों के लिए फायदेमंद है।
  • संतुलित भोजन ग्रहण करने के साथ ही रात के समय बहुत हल्का व सुपाच्य भोजन लें। डिनर में भोजन की मात्रा विशेष रूप से कम रखें। देर रात भोजन करने से बचें।
  • नियमित रूप से योग करना शुगर व बीपी के मरीजों के लिए लाभदायक है। अपने चिकित्सक की सलाह पर ही उचित आसन, प्राणायाम करें। मेडिटेशन यानि ध्यान करने से भी काफी लाभ होगा।

 

ये हैं उच्च रक्तचाप के लक्षण

  • सिर में दर्द होना।
  • थकान महसूस होना।
  • जिस्म में कमजोरी का होना।
  • पैरों में दर्द और सूजन होना।
  • दिल की धड़कन बढ़ी हुई महसूस होना।
  • सांस लेने में दिक्कत महसूस होना।
Edited By: Ballia Tak

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